E-COMMERCE क्या है? विशेषताएं, प्रकार, लाभ,हानि क्या-क्या है

E-COMMERCE – नमस्कार दोस्तों आज आपको इस पोस्ट में बतायेगे कि E-COMMERCE क्या है? विशेषताएं, प्रकार, लाभ,हानि आदि के बारे में जानकारी देगे इस पोस्ट में आपको E-COMMERCE से सम्बंधित जानकारी मिलेगी जैसे-की e-commerce किस प्रकार से वर्क करता है हमें इसके उपयोग क्या है तथा E-COMMERCE के लाभ-हानि क्या है और हमें अपने देनक जीवन में इसका उपयोग करना चहिये या नहीं क्योकि आजकल सबसे जायदा प्रोडक्ट्स लोग E-COMMERCE पर सेल करते है ई-कॉमर्स में अन्य तरह की तकनीक भी शामिल रहती है जिनके प्रयोग से कंपनी अपना व्यवसाय आधुनिक ढंग से कर सकती है।आदि सारे सवालो के जवाब मिलेगे तो चलिए दोस्तों शुरू करते है – E-COMMERCE

 

E-COMMERCE क्या है ?

E-COMMERCE – एक तरह का व्यवसायिक वातावरण है जिसमें वस्तु की खरीदी,बिक्री और उनकी आवागमन की सारी सूचनाओं व सुविधा उपलब्ध रहती हैं।

  • ई-कॉमर्स टेलीकम्युनिकेशन और डाटा प्रोसेसिंग तकनीक का एक उपयोग है जिस व्यवसाय के भागीदारों के बीच लेनदेन की गुणवत्ता को बढ़ाया जाता है ई-कॉमर्स वेबसाइट के कार्य क्षमता में डाटा प्रोसेसिंग और डेटाबेस के संग ग्रहण के मध्य से बढ़ोतरी करता है।
  • ई-कॉमर्स के माध्यम से मजदूरी लागत और पेपर के संग ग्रहण में कमी आती है या व्यवसाय को अपने माल की गन बताता था सुविधाओं के जरिए अधिक प्रभावशाली बनाता है ई-कॉमर्स के जरिए योजना तथा व्यवसाय के बीच एक प्रभावशाली कम्युनिकेशन स्थापित किया जाता है यूजर सामान के खरीद व बिक्री कुछ ही समय में विश्व के किसी भी स्थान से कर सकता है।
  • ई-कॉमर्स एक कंप्यूटर संचार जल के ऊपर वस्तु की बिक्री उत्पाद तथा सुविधाओं संबंधी सूचनाओं से जुड़ा रहता है इसके अतिरिक्त ई-कॉमर्स पारंपरिक व्यापार में नई सूचनाओं के आदान-प्रदान को गति है प्रोत्साहन प्रदान करता है यह सूचना विभिन्न व्यापारिक गतिविधियों से जुड़ी रहती है इसके अंतर्गत सूचनाओं का आदान प्रदान एक कंप्यूटर से दूसरे कंप्यूटर पर होता है तथा यह सूचना व्यवसाय को संचारित करने के काम आती है।
  • ई-कॉमर्स एक तरह से कागज रहित व्यापारिक सूचनाओं का आदान-प्रदान है जो इलेक्ट्रॉनिक द्वारा इंटरचेंज ईमेल तथा इलेक्ट्रॉनिक फंड ट्रांसफर के जरिए व्यापार को गति प्रदान करता है यह केवल एक मानवीय पेपर लेनदेन प्रक्रिया ही नहीं बल्कि इसका उपयोग इलेक्ट्रॉनिक वातावरण व्यापार को संचालित करने वाले तरीकों में बदलाव प्रदान करना है पिछले कुछ भाषा में व्यापारिक संगठनों में ई-कॉमर्स को इंटरनेट पर शुरू कर दिया है ई-कॉमर्स में व्यवसायों को एक नई दिशा प्रगति प्रदान की है यह अन्य साधन की अपेक्षा के सस्ता साधन भी है।
  • ई-कॉमर्स के पास या क्षमता होती है कि वह दूसरों की क्षमताओं में मिले-जुले रूप का प्रयोग अधिक प्रभावशाली ढंग से कर सकता है उसके माध्यम से हर प्रकार के व्यापार के लिए सूचनाओं का ढांचा भी आसानी से उपलब्ध हो जाता है प्राइवेट कंपनी अपने फ्यूचर के बारे में सारी आंकड़ों का अध्ययन भी कर सकते हैं एक में सॉफ्टवेयर इस बात का भी परीक्षण करती है कि उनकी तकनीकी यूजर आधारित खरीददारी तरीकों पर है अथवा नहीं ई-कॉमर्स विभिन्न संप्रदायों, संस्कृतियों जो की एक दूसरे से भिन्न दिखाई पड़ रही हो उन्हें आपस में जोड़ता है।

 

E-COMMERCE की विशेषताएं –

E-COMMERCE की विशेषताएं निम्नलिखित है –

  1. उत्पादन क्षमता में वृद्धि
  2. लागत में बचत/कमी
  3. नई व्यवसाय के अवसर
  4. कुल लागत में कमी
  5. यूजर की जरूरत का पूर्वानुमान
  6. संचार व्यवस्था सुलभ आसान और सस्ती
  7. ऑनलाइन ट्रेडिंग
  8. सूचनाओं का सुरक्षित आदान-प्रदान
  9. ऑनलाइन रकम का भुगतान
  10. वस्तु का विज्ञापन तथा विक्री तेज व आसान

 

E-COMMERCE के विभिन्न प्रकार – 

E-COMMERCE के विभिन्न प्रकार निम्नलिखित है –

1 . बिजनेस टू बिजनेस ई-कॉमर्स

इस तरह के ई-कॉमर्स से तात्पर्य होता है दो व्यापारिक कंपनियों के बीच प्रोडक्ट सर्विसेज या सूचनाओं का आदान प्रदान करना।

2. बिजनेस टू कस्टमर ई-कॉमर्स

  • इस तरह के ई-कॉमर्स का अर्थ होता है किसी कंपनी का कस्टमर के बीच प्रोडक्ट, सर्विसेज या सूचनाओं का आदान-प्रदान। सामान्यता कंपनी इस कार्य को वेबसाइट की मदद से करते हैं
  • इस वेबसाइट पर कंपनी अपने प्रोडक्ट सर्विसेज की जानकारी देती है और कस्टमर को इस बात की सुविधा होती है कि वह इस वेबसाइट के माध्यम से ऑर्डर भी दे सकता है वह कस्टमर सपोर्ट सर्विसेज को भी प्राप्त कर सकता है।

 

3. डिजिटल मिडलमेन के द्वारा

इस तरह का ई-कॉमर्स ऐसे ई-कॉमर्स से संबंधित है जिसमें तीसरे पक्ष (जिसे डिजिटल मिडलमेन कहते हैं) को शामिल किया गया हो

एक ऐसी कंपनी जो इंटरनेट पर वर्चुअल कम्युनिटी या पोर्टल बनाते हैं और इस कम्युनिटी में व्यवसाय के दृष्टि  बहुत ही कंपनियों को शामिल करते हैं डिजिटल मिडलमेन कहलाती है।

 

E-COMMERCE के लाभ –

E-COMMERCE के लाभ निम्नलिखित है –

  1.  ग्लोबल मार्केट में प्रवेश आसान
  2.  माल की उच्च गुणवत्ता
  3.  विकसित स्टॉक मैनेजमेंट
  4.  ट्रांजैक्शन टाइम में कमी
  5.  नई मार्केट
  6.  सप्लायर की कास्ट में कमी
  7.  विकसित सूचना प्रक्रिया
  8.  खरीदारों को कम कीमत
  9.  राष्ट्रीय कल्याण
  10.  ओवरहेड कॉस्ट में कमी

 

1. ग्लोबल मार्केट में प्रवेश आसान

विशेष कर भौगोलिक रूप से दूरस्थ स्थानों के मार्केट में कंपनी के विभिन्न आकार और लोकेशन के हिसाब से महत्वपूर्ण भागीदारी संभव है।

2. माल की उच्च गुणवत्ता

स्टैंडर्ड और प्रतिस्पर्धा के बढ़ने से माल के गुणवत्ता बढ़ी और इस से मार्केट के विस्तार होने से माल में विविधता मिलती है साथ ही उपभोक्ता के अनुसार माल उत्पादित होने लगा है।

3. विकसित स्टॉक मैनेजमेंट

इन्वेंटेज और उससे संबंधित इन्वेंटेज के नुकसान में कमी का कारण माल की मांग और पूर्ति को इलेक्टोनिकली लिंक करने से मांग की पूर्ति कुछ ही समय में हो जाती है, जिससे निर्माण प्रक्रिया (तकनीकि) में एकरूपता आती है।

4. ट्रांजैक्शन टाइम में कमी

व्यावसायिक प्रक्रिया में लगने वाले समय में कमी आई, विशेषकर भुगतान प्रक्रिया में लगने वाले समय में कमी आई है।

5. नई मार्केट 

इसके द्वारा नई मार्केट का निर्माण होता है इसकी मदद से विश्वनीयता उपभोक्ता तक कम खर्चे में आसानी से पहुंचा जा सकता है।

6. सप्लायर की कास्ट में कमी

इलेक्ट्रॉनिक कॉमर्स को अपने से सप्लाई के लिए भी कीमत में कमी आई है क्योंकि वह ऑनलाइन डाटाबेस को एक्सेस करके बोली लगा सकता है और उसका परिणाम में जान सकता है।

7. विकसित सूचना प्रक्रिया

किसी सूचना प्रक्रिया में होने वाली गलतियां, समय व खर्चे में कमी,  डाटा के  रि-इंजीनियरिंग की जरूरत को दूर करती है।

8. खरीदारों को कम कीमत

प्रतिस्पर्धा में लाभ के लिए सप्लायर को इलेक्ट्रॉनिकली ओपन मार्केट में अपने प्रतिस्पर्धी से प्रतिस्पर्धा में सक्षम होने के लिए कम कीमत आवश्यक है।

9. राष्ट्रीय कल्याण

अपने में बड़े-बड़े राष्ट्रीय कार्यक्रम को संचालित करने की योग्यताएं जैसे-राष्ट्रीय स्वास्थ्य विभाग जहां कीमत और व्यक्तिगत आवश्यकताए  मैनुअली मैनेज की जाती थी, अब संपूर्ण प्रक्रिया अपने आप होने लगी है।

10. ओवरहेड कॉस्ट में कमी

इनफॉर्मेलिटी (एकरूपता) ऑटोमेशन और बड़ी पैमाने पर मैनेजमेंट प्रोसेस का इंटीग्रेशन (एकीकरण) ओवरहेड को कम करता है क्योंकि इससे सरल, विस्तृत व सक्षम प्रक्रिया की जा सकती है।

 

E-COMMERCE के हानि –

E-COMMERCE के हानि निम्नलिखित है –

  1. बिजनेस प्रोसेस को रि-इंजीनियर्स करना बहुत कठिन है
  2. जटिल इलेक्ट्रॉनिक information सिस्टम का उपयोग बहुत कठिन होता है।
  3. पहले से स्थापित नेटवर्क में सुरक्षा की कमी। 
  4. ऑर्डर देते समय प्रोडक्ट की जांच संभव नहीं होती है।
  5. ऑनलाइन दुकानों के विश्वसनीयता अधिक नहीं होती है।

 

FAQ’S 

1. बिजनेस टू कस्टमर ई-कॉमर्स क्या है ?

इस वेबसाइट पर कंपनी अपने प्रोडक्ट सर्विसेज की जानकारी देती है और कस्टमर को इस बात की सुविधा होती है कि वह इस वेबसाइट के माध्यम से ऑर्डर भी दे सकता है

2. बिजनेस टू कस्टमर ई-कॉमर्स का क्या अर्थ है ?

इस तरह के ई-कॉमर्स का अर्थ होता है किसी कंपनी का कस्टमर के बीच प्रोडक्ट, सर्विसेज या सूचनाओं का आदान-प्रदान।

3. ओवरहेड कॉस्ट में कमी क्या है ?

इनफॉर्मेलिटी (एकरूपता) ऑटोमेशन और बड़ी पैमाने पर मैनेजमेंट प्रोसेस का इंटीग्रेशन (एकीकरण) ओवरहेड को कम करता है क्योंकि इससे सरल, विस्तृत व सक्षम प्रक्रिया की जा सकती है।

 

Conclusion (निष्कर्ष)

तो दोस्तो आपको मेरी यह पोस्ट E-COMMERCE क्या है? विशेषताएं, प्रकार, लाभ,हानि क्या-क्या है आजकल सभी प्रकार के प्रोडक्ट्स, जरूरत का सामान आपको कुछ भी समय में आपके पास आ जाता है क्योकि E-COMMERCE एक बहुत बड़ी वेबसाइट होती है जिस पर आपको कई लाखो प्रकार के प्रोडक्ट्स मिल जाते है जिसको आप buy कर सकते है यह पोस्ट कैसी लगी comment करके जरूर बताएं तथा अपने दोस्तो के साथ शेयर जरूर करें।

 

 

 

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